बुधवार 25 जून 2025 - 21:48
ईरान पर हुए हमलों और धमकियों के खिलाफ प्रदर्शन,मौलाना यासूब बोले/ट्रंप और नेतन्याहू मानवता के दुश्मन

हौज़ा / लखनऊ, 22 जून ईरान पर इसराईल और अमेरिका के हालिया हमलों तथा ईरानी सुप्रीम लीडर आयतुल्लाह अली ख़ामनाई को दी गई धमकियों के खिलाफ लखनऊ के छोटा इमामबाड़ा में मंगलवार को मौलाना यासूब अब्बास की सरपरस्ती में एक ज़ोरदार एहतेजाजी जलसा हुआ।

हौज़ा न्यूज़ एजेंसी हिन्दीं के अनुसार ,लखनऊ, 22 जून ईरान पर इसराईल और अमेरिका के हालिया हमलों तथा ईरानी सुप्रीम लीडर आयतुल्लाह अली ख़ामनाई को दी गई धमकियों के खिलाफ लखनऊ के छोटा इमामबाड़ा में मंगलवार को मौलाना यासूब अब्बास की सरपरस्ती में एक ज़ोरदार एहतेजाजी जलसा हुआ।

इस प्रदर्शन का आयोजन हैदरी टास्क फोर्स ने किया, जो शिया युवाओं की एक सक्रिय सामाजिक और धार्मिक संस्था है हालांकि क्षेत्र में अस्थायी युद्धविराम की घोषणा हो चुकी है, मगर हैदरी टास्क फोर्स की मांग है कि अमेरिका और इसराईल की आक्रामक नीतियों का वैश्विक स्तर पर विरोध जारी रहना चाहिए।

हैदरी टास्क फोर्स के संरक्षक शिया धर्मगुरु मौलाना यासूब अब्बास ने कहा,ईरान के परमाणु ठिकानों पर अमेरिका द्वारा की गई बमबारी बेहद निंदनीय है। शांति के नाम पर जंग की आग में घी डालना दुनिया को विनाश की ओर ले जा सकता है। ट्रंप जैसे नेता शांति के नहीं, बल्कि मानवता के लिए सबसे बड़ा ख़तरा हैं।

मौलाना यासूब ने इसराईल की ओर से आयतुल्लाह ख़ामनाई को कत्ल की धमकी को वैश्विक शांति के लिए गंभीर ख़तरा बताया उन्होंने कहा,अपने बच्चों को अपनी आने वाली नस्लों को ये ज़रूर बताना कि तुमने वो दौर भी देखा है जब एक 86 साल का बुज़ुर्ग इस्लाम की हिफाज़त कर रहा था और ज़्यादातर इस्लामी मुल्क ऐश-ओ-आराम में डूबे हुए थे।

हैदरी टास्क फोर्स के अध्यक्ष मुन्ने आगा ने कहा कि अमेरिका और इसराईल की सैन्य कार्रवाई एक आज़ाद देश की संप्रभुता पर हमला है। उन्होंने कहा,यह पूरी मुस्लिम उम्मत की तौहीन है और हम इसका हर स्तर पर विरोध करते हैं।

वहीं हैदरी टास्क फोर्स के महामंत्री ज़ीशान ज़ैदी ने कहा कि यह सिर्फ एक देश पर हमला नहीं, बल्कि इंसानियत पर हमला है। उन्होंने कहा, इसराईल की फौजें बेगुनाह औरतों, बच्चों और बुज़ुर्गों पर बम बरसा रही हैं। यह इंसानियत के खिलाफ संगीन जुर्म है और जो इस पर खामोश हैं, वो भी बराबर के हिस्सेदार हैं।

मौलाना यासूब अब्बास ने कहा भारत सरकार को चाहिए कि वह इसराईल और अमेरिका के इस फासीवादी रवैये का खुलकर विरोध करना चाहिए ।

उन्होंने फिलिस्तीन पर हो रहे जुल्म पर भी गहरी चिंता जताई मौलाना यासूब अब्बास ने आगे कहा कि इस ज़ुल्म के खिलाफ सऊदी अरब, जॉर्डन और बहरीन की खामोशी इसराईल और अमेरिका के ज़ुल्म का समर्थन है और यह खामोशी इतिहास में गुनाह के तौर पर दर्ज होगी।

प्रदर्शन के दौरान नौजवानों ने जोशीले नारे लगाते हुए अमेरिका इजरायल के झंडे जलाए। इसराईल मुर्दाबाद! "ईरान ज़िंदाबाद!"
"ट्रंप मानवता का दुश्मन!"इस एहतेजाज में बड़ी संख्या में शिया समाज के लोगों के अलावा कई संगठन व धर्मगुरु भी शामिल हुए।

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